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"जय माताजी मारा आ ब्लॉगमां आपणु स्वागत छे मुलाक़ात बदल आपनो आभार "
आ ब्लोगमां चारणी साहित्यने लगती माहिती मळी रहे ते माटे नानकडो प्रयास करेल छे.

આઈશ્રી સોનલ મા જન્મ શતાબ્દી મહોત્સવ તારીખ ૧૧/૧૨/૧૩ જાન્યુઆરી-૨૦૨૪ સ્થળ – આઈશ્રી સોનલ ધામ, મઢડા તા.કેશોદ જી. જુનાગઢ.

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20 मार्च 2017

ईशरा परमेशरा चारण महात्मा ईसरदासजीनुं संक्षिप्त जीवन वृतांत..!

'' ईशरा परमेशरा '' चारण महात्मा ईसरदासजीनुं संक्षिप्त जीवन वृतांत..!

ईसरदासनो जन्म भाद्रेश गामे ( ता. बाडमेर राजस्थान )
सवंत 1515 श्रावण सुद 2 शुक्रवार ( ई.स. 1459 ) मां थयो हतो.
पिता- सुराजी उदयराज बारहट्ट रोहडीया शाखाना चारण.
माता अमरबा हमीरजी रणछोडदान गाडण.

प्रथम पत्नी देवलबा जेना संतानो जागाजी. चोंडाजी.
द्वितिय पत्नी राजबाई पेथाभाई अवसुरा जेना संतानो कहानदास, जेसाजी, गोपाळदास, पारवतीबा, पदमाबा.

जाम रावळजीऐ सचाणा. जि जामनगर गाम सं. 1597 मां आप्युं.

ज्ञानगुरु : पीतांबर गोवॅघन भट्ट- जामनगर.

जागीरना अन्य गामो- घुनानागाम, विरवदरका, हजनाळी, हापा, रंगपर, मकवाणा, जोगवड, गुंदा, वरसडा, ईश्वरीया, सावडी, वाधा चंडोपरि.

रचनाओ : हरिरस, देवियाण, गुणनिंदास्तुति गुण बाळ लीला, हालां झालरां कुंडळिया, दाणलीला वगेरे.

समुद्रगमन निवाॅण तिथी सं. 1622 चैत्र सुद 9 बुघवार ई. स. 1566.
आयु :  107  वषॅ.

विशेष : पूवॅजन्म परमयोगी महंत ज्वालागिरीजी कापडी साघु गिरनार पवॅत लक्ष्मणटेकरी पर लक्ष्मणजी साथे मिलन.

सं. 1575 जाम रावळने हालार जीतवा संकेत आप्यो.
भकत मांडण वरसडा साथे मित्रता.
सांगाजी तथा करण वजाजी सरवैया ने सजीवन कराव्या.

हरिरस ग्रंथ द्वारकामां द्वारकाघीशे हाथोहाथ स्वीकायोॅ.
रुकमणिजी / उमियाजीनी आज्ञाथी देवियाण ग्रंथनी रचना करी.

जय माताजी.

प्रस्तुति कवि चकमक.

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